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कॉरपोरेट मुख्यमंत्री किसान का दर्द नहीं समझ सकता- विधायक

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उज्जैन/ जो अन्नदाता पूरे प्रदेश का पेट भरता है आज वो इस प्रदेश मे छोटी से छोटी चीज़ के लिए मोहताज है, फसले बरबाद हो चुकी है। आज पूरे प्रदेश का किसान त्राहिमाम कर रहा है और ये गूंगी बहरी सरकार कान मे रुई डाले बैठी है ये सरकार अपनी असंवेदांशीलता के चलते किसानो के रूदन तक को नहीं सुन पा रही है । ये सरकार उधयोगपतियों की सरकार है इसे किसानों और आमजन की समस्या से कोई सरोकार नहीं है ये बात उज्जैन दक्षिण विधायक डॉ मोहन यादव ने किसान आंदोलन के दौरान उपस्थित लोगों को संबोधित करते हुए कही।
मीडिया प्रभारी सचिन सक्सेना के अनुसार प्रदेश के किसान की बदहाल व्यवस्था की और ध्यानकर्षण करने और इस असंवेदनशील सरकार को कुंभकरणी नींद से जगाने के लिए प्रदेश व्यापी किसान आंदोलन कर प्रदेश की 230 विधानसभाओं मे धरना प्रदर्शन कार्यक्रम आयोजित किया गया। इसी तारतम्य मे विधायक डॉ मोहन यादव के नेतृत्व मे उज्जैन दक्षिण विधानसभा मे भी स्थानीय तरणताल चौराहे पर धरना प्रदर्शन किया गया जिसमे सेकड़ों की संख्या मे शामिल कार्यकर्ताओं ने एक रैली के माध्यम से कोठी कार्यालय पर पहुँच कर महामहिम राज्यपाल के नाम एडीएम को 21 मांगो को लेकर ज्ञापन सोंपा।
इस अवसर पर उपस्थित कार्यकर्ताओं को संबोधित करते हुए विधायक डॉ मोहन यादव ने कहा की जबसे प्रदेश मे कॉंग्रेस सरकार बनी है चहुं और अराजकता और अनिश्चितता का वातावरण निर्मित हुआ है ।अपराधी बेखोफ अपराध मे लिप्त हैं , आमजन असुरक्षा और भय के वातावरण मे जीवन व्यतित करने को मजबूर है , युवा रोजगार की तलाश मे दर दर भटक रहा है और इस प्रदेश का किसान समस्याओं के अंबार से दो चार हो रहा है , परंतु मध्यप्रदेश के मुखिया कमलनाथ और उनके मंत्री तबादला उधयोग मे व्यस्त है ! इस सरकार ने सत्ता प्राप्ति के लिए किसान से जो वादे किए थे उन्हे पूरा करना तो दूर विभिन्न योजनाओं के माध्यम से प्रदेश के किसानों को शिवराज सरकार जो राहत प्रदान कर रही थी उन्हे भी बंद कर दिया गया ! डॉ यादव ने आरोप लगाते हुए कहा की अतिवृष्टि के चलते फसल पूरी तरह बरबाद हो चुकी है ऐसे मे कमलनाथ जी का 15 से 20 प्रतिशत बरबादी के सर्वे का आकलन अन्नदाता का मखोल उड़ाना है , फसल बरबादी का इतना कम आकलन करना कहीं न कहीं बीमा कंपनी से साँठ गांठ की और भी इशारा करता है ! श्री यादव ने प्रदेश सरकार को आगाह करते हुए कहा की किसानों को 40 हज़ार रुपए प्रति हेक्टेयर के हिसाब से मुआवजा दिया जाये , बीमा राहत राशि जल्द से जल्द प्रदान की जाये , बिजली प्रदान की जाये , अगली फसल के लिए बिना ब्याज के कर्ज़ स्वीकृत किया जाए ! किसान अपना अधिकार मांग रहा है सरकार से भीख नहीं मांग रहा है अगर जल्द से जल्द इन मांगों को स्वीकृत कर किसान को राहत राशि प्रदान नहीं की गयी तो भारतीय जनता पार्टी चरणबद्ध तरीके से आंदोलन करेगी।

पदेश का पेट पालने वाला आज खुद दो वक्त की रोटी के लिए संघर्षरत है
कार्यक्रम को संबोधित करते हुए सांसद अनिल फिरोजीया ने कहा की अंतरद्वंद से ग्रसित इस सरकार के पास किसानों के हितार्थ सोचने के लिए ना तो समय है और ना ही नियत ! प्रदेश के मुख्यमंत्री तो दूर किसी मंत्री को भी पीड़ित जनता और किसानों के बारे मे सोचने की फुर्सत नहीं है उस पर कमलानाथ जी का बयान की भाजपा राजनीति कर रही है दुर्भाग्यपूर्ण है श्री फिरोजीया ने कहा की प्रदेश का किसान पहले ही सोयाबीन के अफलन से जूझ रहा था उस पर अतिवृष्टि के इस कहर ने किसान की फसलों को पूरी तरह बरबाद कर दिया है। श्री फिरोज़िया ने कहा की ये कैसी किसान हितेशी सरकार है जिसके राज मे किसान खून के आँसू रोने पर मजबूर है और इस सरकार के मुखिया को अपने एसी कक्ष से बाहर निकल कर किसान के हाल जानने का भी समय नहीं है। आज किसान दो वक्त की रोटी के लिए संघर्ष कर रहा है और दूसरी तरफ प्रदेश मे काबिज इस गूंगी बहरी सरकार के मंत्री और विधायक भ्रष्टाचार से एकत्रित की गई राशि के बँटवारे मे एक दूसरे के ऊपर आरोप प्रत्यारोप लगा रहे हैं।

जिलाध्यक्ष विवेक जोशी ने ज्ञापन का वाचन करते हुए कहा की ये आंदोलन तो बानगी मात्र है अगर प्रदेश सरकार ने जल्द से जल्द इस ज्ञापन पत्र के अनुसार किसानों को राहत प्रदान नहीं की तो आने वाले समय मे भारतीय जनता पार्टी इस प्रदेश के जनता और किसानों को साथ लेकर और भी उग्र आंदोलन करेगी । किसी भी कीमत पर इस गूंगी बहरी और भृष्ट सरकार को इस प्रदेश के साथ खिलवाड़ नहीं करने दिया जाएगा।
कार्यक्रम मे प्रमुख रूप से महापोर श्रेमती मीना जोनवाल, प्रदेश प्रवक्ता राजपाल सिंह सीसोदिया, सुरेन्द्र सांखला, सनवर पटेल, महामंत्री सुरेश गिरि, राजेंद्र झालानी, सोनू गेहलोत सहित नगर पदाधिकारी एवं मण्डल अध्यक्ष महामंत्री शामिल हुए ।कार्यक्रम का संचालन उपाध्यक्ष ओम अग्रवाल ने किया।